माँ ब्रह्मचारिणी आरती: ॐ जय ब्रह्मचारिणी माँ (Maa Brahmacharini Aarti, Om Jay Brahmacharini Maa)

माँ ब्रह्मचारिणी आरती

"दधाना कपद्माभ्यामक्षमाला कमण्डलू।
देवी प्रसीदतु मयि ब्रह्मचारिण्यनुत्तमा॥"

ॐ जय ब्रह्मचारिणी मां,
मैया जय ब्रह्मचारिणी मां।
जन-जन की उद्धारिणी,
चरणों में हमें रखना॥

ॐ जय ब्रह्मचारिणी मां॥

माला धारणी मैया,
जो जन तुम्हें ध्याता।
ज्ञान ध्यान बढ़ जावे,
सिद्धि नर पाता॥

ॐ जय ब्रह्मचारिणी मां॥

अष्ट कमण्डल सोहे,
भक्तों की प्यारी।
तपस्विनी है मैया,
सेवक नर नारी॥

ॐ जय ब्रह्मचारिणी मां॥

साधक सिद्धि पावे,
मां कल्याण करे।
निज भक्तों की मैया,
नित उद्धार करे॥

ॐ जय ब्रह्मचारिणी मां॥

श्वेत वस्त्र है न्यारा,
ऋषि मुनि हर्षावे।
त्याग संयम बढ़ता,
जो मां को ध्यावे॥

ॐ जय ब्रह्मचारिणी मां॥

पूजा जो नित करता,
ज्ञान सदा पावे।
अज्ञान तिमिर मिटावे,
चरणों में जो आवे॥

ॐ जय ब्रह्मचारिणी मां॥

द्वितीय नवरात्रों में,
पूजा मां की करो।
शक्ति स्वरूपा मां के,
चरणों का ध्यान करो॥

ॐ जय ब्रह्मचारिणी मां॥

योगियों के मन में मां,
सदा निवास करें।
साधक कष्ट मिटावे,
मां भव पार करे॥

ॐ जय ब्रह्मचारिणी मां॥

ब्रह्मचारिणी मां की,
आरती जो करे।
ज्योतिर्मय जीवन हो,
मां से दु:ख टरे॥

ॐ जय ब्रह्मचारिणी मां॥

ॐ जय ब्रह्मचारिणी मां,
मैया जय ब्रह्मचारिणी मां।
जन-जन की उद्धारिणी,
चरणों में हमें रखना॥

Maa Brahmacharini Aarti, Om Jay Brahmacharini Maa
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