एक श्लोकी रामायण अर्थ सहित (EK Sloki Ramayan)
एक श्लोकी रामायण, सम्पूर्ण रामायण का सार रूप है। अर्थात इस एक श्लोक में सम्पूर्ण रामायण का संक्षिप्त अर्थ दिया गया है, मान्यता है कि इस एक श्लोक के नित्य पाठ मात्र से सम्पूर्ण रामायण पाठ का फल प्राप्त होता है।
एक श्लोकी रामायण अर्थ सहित
आदौ राम तपोवनादि गमनं, हत्वा मृगं कांचनम्।
वैदीहीहरणं जटायुमरणं,
सुग्रीवसंभाषणम्॥
बालीनिर्दलनं समुद्रतरणं, लंकापुरीदाहनम्।
पश्चाद् रावण कुम्भकर्ण हननम्,
एतद्धि रामायणम्॥
प्रारंभ में, श्रीराम ने वनवास के दौरान तपोवन आदि स्थानों की यात्रा की और वहाँ सोने के हिरण (स्वर्ण मृग) का वध किया। इस दौरान, रावण ने वैदेही (सीता) का हरण किया, और उनकी रक्षा करते हुए जटायु का अंत हुआ। बाद में, श्रीराम की मित्रता सुग्रीव से हुई, जिन्होंने उनके पापी भाई बालि का वध किया। हनुमान ने समुद्र पार करके लंका नगरी का दहन किया और अंततः श्रीराम ने रावण और कुम्भकर्ण का वध किया। यह श्लोक सम्पूर्ण रामायण की कथा को संक्षेप में प्रस्तुत करता है।
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